किसने किसने.....
कु छ कहो कि तुमने मन जीता ,
कुछ सुनो कि सब रीता -रीता ,
इतने बादल , इतनी वर्षा ,
फ़िर पानी को क्यों मन तरसा ?
क्यों मैं हारा ,क्यों जग जीता ?//कुछ कहो कि .....
ऊंची, ये अनगढ़ दीवारें ,
पीठों में चुभती तलवारें,
जो भी बीता कैसे बीता ?//कुछ कहो कि .......
कु छ कहो कि तुमने मन जीता ,
कुछ सुनो कि सब रीता -रीता ,
इतने बादल , इतनी वर्षा ,
फ़िर पानी को क्यों मन तरसा ?
क्यों मैं हारा ,क्यों जग जीता ?//कुछ कहो कि .....
ऊंची, ये अनगढ़ दीवारें ,
पीठों में चुभती तलवारें,
जो भी बीता कैसे बीता ?//कुछ कहो कि .......
किसने ऐसे इतिहास लिखे ?
जहाँ छला गया विश्वाश दिखे ,
खुश हो की आज का दिन बीता ,//कुछ कहो की .......
हर पल अपने में खोया सा ,
हर मन है सोया-सोया सा ,
ऐसे ही हरी गयीं सीता ,//कुछ कहो की ....
संबंधों की क्या गहराई ?
क्या प्रिय की मादक अंगडाई ?
जो नापे ,बना नही फीता // कुछ कहो की ...
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